फाइलें सार्वजनिक होने पर पात्रा जी ने यह अद्भुत खुलासा किया है कि नेता जी का पूरा नाम सुभास चन्द्र बोस था । लेकिन यह नहीं बताया कि आज़ाद हिन्द फ़ौज़ के सेनानियों पर चले राजद्रोह के मुक़द्दमे की पैरवी के लिए जवाहर लाल नेहरू जीवन में पहली बार और आखिरी बार एक वकील के रूप में कोर्ट में पेश हुए । और यह तो शायद एक मामूली सी बात है कि आज़ाद हिन्द फ़ौज़ के सभी सैनिकों को स्वतन्त्र भारत की सरकार ने स्वाधीनता सेनानी का ओहदा दे , पेंशन शुरू की , जो आज भी बरक़रार है ।
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