चंडीगढ़/देहरादून, 30 जनवरी (एजेंसी)। पंजाब, उत्तराखंड में मतदान शुरू हो गए हैं। पंजाब में 1.76 करोड़ मतदाता 117 सीटों पर खड़े 1078 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला करेंगे। इनमें मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल और विपक्षी कांग्रेस पार्टी के कैप्टन अमरिंदर सिंह भी शामिल हैं। उत्तराखंड में 63 लाख 78 हजार मतदाता 70 विधानसभा सीटों पर खड़े 788 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला करेंगे। पंजाब चुनाव कार्यालय के एक प्रवक्ता ने कहा कि राज्य के 19841 मतदान केंद्रों पर चुनाव स्वतंत्र और शांतिपूर्ण मतदान सुनिश्चित कराने के लिए पंजाब पुलिस के जवानों के अलावा केंद्रीय अर्द्धसैनिक बलों की करीब 200 कंपनियां तैनात की गई हैं। पांच मतदान केंद्रों को 'अतिसंवेदनशील' और 32 को संवेदनशील घोषित कर वहां सुरक्षा के विशेष इंतजाम किए गए हैं। राज्य की ज्यादातर सीटों पर त्रिकोणीय मुकाबले हैं। हालांकि मुख्य मुकाबला अकाली-दल भाजपा और कांग्रेस के बीच है लेकिन मनप्रीत बादल की अगुआई में वाम दलों और पीपुल्स पार्टी आफ पंजाब (पीपीपी) का गठबंधन सांझा मोर्चा भी मजबूती से मैदान में डटा हुआ है। राज्य में 417 निर्दलीय उम्मीदवार हैं जिनमें 45 महिलाएं भी हैं। सत्तारूढ़ शिअद-भाजपा गठबंधन, कांग्रेस और बसपा सभी 117 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ रही हैं। जबकि हाल ही में गठित पंजाब पीपुल्स पार्टी 92 सीटों पर और पूर्व आईपीएस अधिकारी सिमरनजीत सिंह मान की अध्यक्षता वाला शिअद (अमृतसर) 57 सीटों पर चुनाव लड़ रहा है। शिरोमणि अकाली दल (बादल) ने 94 सीटों पर उम्मीदवार खड़े किए हैं जबकि भाजपा बाकी की 23 सीटों पर चुनाव लड़ रही है। शिअद (बादल) ने दस, भाजपा ने तीन, कांग्रेस ने 11 और बसपा ने छह महिलाओं को टिकट दिया है। चुनावी मैदान में उतरे प्रमुख उम्मीदवारों में प्रकाश सिंह बादल (लंबी), कैप्टन अमरिंदर सिंह (पटियाला शहर) और उप मुख्यमंत्री सुखबीर बादल (जलालाबाद) प्रमुख हैं। पूर्व मुख्यमंत्री रजिंदर कौर भट्टल लेहरा विधानसभा सीट से मैदान में हैं। विधानसभा चुनाव से ठीक पहले इस्तीफा देने वाले दो पूर्व नौकरशाह मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव डीएस गुरु और डीजीपी पीएस गिल भी चुनाव लड़ रहे हैं। अन्य उम्मीदवारों में मनप्रीत बादल गिद्दड़बाहा और मौड़ से व उनके पिता गुरदास बादल लंबी में अपने बड़े भाई मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं। 2007 के चुनाव में 1.67 करोड़ मतदाताओं में से 76 फीसद ने मतदान किया था। उत्तराखंड की मुख्य निर्वाचन अधिकारी राधा रतूड़ी ने बताया कि राज्य के कुल 63 लाख 78 हजार मतदाताओं में 32 लाख 84 हजार पुरुष और 29 लाख 93 हजार महिला मतदाता हैं। इनके अतिरिक्त सुरक्षा बलों में कार्यरत एक लाख 337 मतदाता भी हैं। कांग्रेस, भाजपा और बसपा ने सभी 70 सीटों पर अपने उम्मीदवार खडेÞ किए हैं। इसके अतिरिक्त अन्य पार्टियों और निर्दलीय उम्मीदवारों की तादाद 578 है। कांग्रेस ने आठ और भाजपा ने छह महिलाओं को मैदान में उतारा है जबकि बसपा ने सिर्फ तीन महिलाओं को टिकट दिया है। राज्य में 25 से 45 साल के बीच के उम्मीदवारों में बसपा ने सबसे ज्यादा 33 युवाओं को टिकट दिया है जबकि भाजपा ने 28 और कांग्रेस ने 21 युवाओं पर भरोसा दिखाया है। बाकी उम्मीदवार 45 से 75 साल की उम्र के बीच के हैं। राज्य में शनिवार को प्रचार समाप्त हो जाने के बाद भी उम्मीदवार अंतिम क्षणों में भी घर-घर जाकर मतदाताओं से अपने पक्ष में मतदान की गुहार कर रहे हैं। हालांकि किसी पार्टी के पक्ष में लहर नहीं दिख रही है। चुनाव प्रचार के दौरान राष्ट्रीय दलों के नेताओं में प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, महासचिव राहुल गांधी, पूर्व उप प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी, भाजपा अध्यक्ष नितिन गडकरी, राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष के अरुण जेटली, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष सुषमा स्वराज, उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री मायावती, केंद्रीय वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री गुलाम नबी आजाद, फिल्म अभिनेत्री हेमा मालिनी, स्मृति ईरानी, फिल्म अभिनेता राजबब्बर, शत्रुघ्न सिन्हा सहित कई नेताओं ने धुंआधार प्रचार किया। रतूडी ने बताया कि मतदान से संबंधित सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। राज्य में कुल 9744 मतदान केंद्र बनाए गए हैं। इनमें से 1794 को संवेदनशील और 1252 मतदान केंद्रों को अति संवेदनशील घोषित कर वहां सुरक्षा के विशेष इंतजाम किए गए हैं। सभी मतदान केंद्रों और अन्य संवेदनशील स्थानों पर सुरक्षाकर्मियों ने कमान संभाली जा चुकी है। किसी अनहोनी से निपटने के लिए दो हेलिकॉप्टरों को 24 घंटे तैयार रहने का निर्देश दिया गया है। इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीनों की जांच परख का काम भी पूरा किया जा चुका है ताकि मतदान में किसी तरह की परेशानी का सामना नहीं करना पड़े। |
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