Follow palashbiswaskl on Twitter

ArundhatiRay speaks

PalahBiswas On Unique Identity No1.mpg

Unique Identity No2

Please send the LINK to your Addresslist and send me every update, event, development,documents and FEEDBACK . just mail to palashbiswaskl@gmail.com

Website templates

Jyoti basu is dead

Dr.B.R.Ambedkar

Monday, June 24, 2013

मीडिया में गायब हैं इन इलाकों के मूल निवासी

मीडिया में गायब हैं इन इलाकों के मूल निवासी

2013.06.21

त्रासदी में इनकी खबर लेने वाला कोई नहीं

मयंक सक्सेना। केदारनाथ जैसी यात्राओं पर आने जाने का एक आदमी का खर्च कितना है...अंदाज़ा लगाइए...कोई बात नहीं...लेकिन ये तो तय है कि रोटी के लिए संघर्ष कर रहा आदमी तो वहां नहीं ही जा पाता होगा...ज़्यादातर पेट भरे लोग ही जाते होंगे...
अब सवाल ये है कि सरकार और मीडिया की प्राथमिकता से वो आदमी कहां गायब है, जो इन इलाकों का मूल निवासी थी...वो आदमी जिसने अपने नुकसान के बीच तीर्थ यात्रियों की भी मदद की...वो 4000 खच्चरवाले कहां गए...वो जो छोटी दुकानें चला कर परिवार पाल रहे थे...वो जो आस पास के गांवों में रहते थे...वो जो लोगों का सामान पीठ पर लाद कर पहाड़ चढ़ जाते थे...
क्यों उनके लिए मुआवजा नहीं है...क्यों मारे गए लोगों में उनकी गिनती नहीं है...क्यों उनके बारे में कोई ख़बर नहीं बन रही...क्या समझा जाए कि अगर केदारनाथ में तीर्थ यात्री न मारे जाते तो शायद ये ख़बर और आपदा होती ही नहीं...
वैसे ऋषिकेश और हरिद्वार में भी बहुत से गांव पानी की चपेट में हैं...उनके बारे में ख़बर कौन ले रहा है...सोचिएगा कि आखिर सरकार और मीडिया की सूची में से उत्तराखंड..खासकर गढ़वाल के ग्रामीण और स्थानीय लोग क्यों गायब हैं...ज़रा जाकर पूछिए, वो विस्थापन मांग रहे हैं...वो बांध का विरोध कर रहे हैं...वो फैक्ट्रियों का विरोध कर रहे हैं...जो तीर्थयात्री नहीं करते...इसलिए उनका सामने आना अच्छा नहीं है...उनकी लाशें बह कर बांध में मिल जाएंगी...जंगलों-मलबों में सड़ जाएंगी...उत्तराखंड में आपदा के वक्त सिर्फ तीर्थयात्री थे...वहां स्थानीय लोग रहते ही कहां थे...
हम ऋषिकेश जा रहे हैं...आप भी पता कीजिए कहां कहां जा सकते हैं...वो जगह जो ख़बर नहीं है...न बनेगी...

Mayank Saxena

http://mediamorcha.com/entries/%E0%A4%AB%E0%A5%87%E0%A4%B8%E0%A4%AC%E0%A5%81%E0%A4%95-%E0%A4%B8%E0%A5%87/%E0%A4%AE%E0%A5%80%E0%A4%A1%E0%A4%BF%E0%A4%AF%E0%A4%BE-%E0%A4%AE%E0%A5%87%E0%A4%82-%E0%A4%97%E0%A4%BE%E0%A4%AF%E0%A4%AC-%E0%A4%B9%E0%A5%88%E0%A4%82-%E0%A4%87%E0%A4%A8-%E0%A4%87%E0%A4%B2%E0%A4%BE%E0%A4%95%E0%A5%8B%E0%A4%82-%E0%A4%95%E0%A5%87-%E0%A4%AE%E0%A5%82%E0%A4%B2-%E0%A4%A8%E0%A4%BF%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%B8%E0%A5%80

No comments: